उत्तराखंड

उत्तराखंड में सियासी हलचल तेज, RSS कार्यालय बना शक्ति केंद्र, आज शाम होगी शपथ

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उत्तराखंड में आज शाम को तीरथ सिंह रावत मंत्रिमंडल का विस्तार होगा.

उत्तराखंड में आज शाम को तीरथ सिंह रावत मंत्रिमंडल का विस्तार होगा.

उत्तराखंड में सियासी हलचल तेज हो गई है. तीरथ सिंह रावत शाम पांच बजे अपनी कैबिनेट को शपथ दिलाएंगे. हालांकि कैबिनेट में कौन-कौन होंगे , इसका अभी खुलासा नहीं हुआ है.



  • Last Updated:
    March 12, 2021, 10:39 PM IST

देहरादून. उत्तराखंड में सियासी हलचल तेज है. तीरथ सिंह रावत शाम पांच बजे अपनी कैबिनेट को शपथ दिलाएंगे. हालांकि कैबिनेट में कौन-कौन होंगे, इसका अभी खुलासा नहीं हुआ है, लेकिन बीजेपी के प्रदेश प्रभारी दुष्यंत कुमार गौतम ये बात कह चुके हैं कैबिनेट फुलफिल होगी यानि की त्रिवेंद्र रावत सरकार में जो तीन मंत्रिपद खाली चल रहे थे, वो भी भरे जाएंगे.

इस बीच सियासी गलियारों में दांव पेंच जारी है. बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत को बदलने जा रही है. भगत की जगह त्रिवेंद्र रावत सरकार में कैबिनेट मंत्री रहे मदन कौशिक पार्टी के नए प्रदेश अध्यक्ष बनाए जा सकते हैं. बंशीधर भगत को कैबिनेट मंत्री बनाने की चरचा है. लेकिन, भगत जब प्रदेश अध्यक्ष बनाए गए थे, तो वे कैबिनेट मंत्री के पद को लेकर इनटेरस्टेड नहीं थे. प्रदेश अध्यक्ष बनने के बाद बकायदा भगत ने सार्वजनिक सभाओं में इस बात को कहा था कि उन्होंने तो बंदूक मांगी थी, लेकिन पार्टी ने उन्हें तोप पकड़ा दी. यानि की तब भगत मंत्रिपद की दौड़ में थे, लेकिन पार्टी ने उन्हें संगठन में इससे भी बड़ा दायित्व दे दिया था.

सवाल उठता है कि बंशीधर भगत अब क्यों प्रदेश अध्यक्ष का पद छोडेंगे. भगत के प्रदेश अध्यक्ष पद को लेकर विवाद भी नहीं हैं. भगत लगभग सभी के लिए सुलभ रहे हैं. सूत्रों की माने तो भगत को बड़ी जिम्मेदारी दी जा सकती है. सियासी गलियारों में कुछ लोग उन्हें डिप्टी सीएम बनाए जाने की भी चरचा कर रहे हैं. इससे पार्टी कुमाऊं गढ़वाल और मैदान में संतुलन कायम कर सकती है. मदन कौशिक तेज तर्रार लीडर में शुमार हैं. वे संसदीय कार्यप्रणाली से भी अच्छे से रूबरू हैं तो एक प्रखर वक्ता भी. विपक्ष के बाणों को वो जितनी आसानी से अपने शब्द जाल में निस्तेज कर देते हैं. ऐसे हुनर कम नेताओं में देखा गया है. मदन कौशिक त्रिवेंद्र सरकार में संसदीय कार्यमंत्री की भी जिम्मेदारी निभाते रहे हैं.सवाल उठता है मदन कौशिक के संगठन में जाने के बाद उनकी जगह कौन लेगा. तो इसके लिए विधायक मुन्ना सिंह चौहान का नाम सबसे उपयुक्त कैँडिडेट के तौर पर गिनाया जा रहा है. मुन्ना तेज तर्रार तो हैं ही संसदीय कार्यप्रणाली से भी अच्छे से परिचित हैं, मदन कौशिक के बाद सरकार में वो दूसरे ऐसे विधायक हैं जो किसी भी टॉपिक पर सहजता से अपनी बात रख सकते हैं. सूत्रों की माने तो इसके पूरे आसार हैं कि चौहान को कैबिनेट मंत्री बनाया जा सकता है. सूत्रों के अनुसार त्रिवेंद्र सरकार में उनके करीबियों में शुमार मुन्ना सिंह चौहान गुरूवार रात नव नियुक्त सीएम तीरथ सिंह रावत के घर पर डिनर पर आमंत्रित थे. यानि की मुन्ना अब तीरथ के लिए भी संकटमोचक का काम करेंगें.

इधर, मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत शुक्रवार को तिलक रोड़ स्थित आरएसएस कार्यालय पहुंचे. यहां उन्होंने प्रांत प्रचारक युद्ववीर समेत प्रांतीय टीम के सभी पदाधिकारियों से मुलाकात की. मुख्यमंत्री ने संघ पदाधिकारियों से सरकार चलाने में मार्गदर्शन मांगा. सीएम ने कहा कि वे अकेले कुछ नहीं हैं. आप मार्गदर्शन करेंगे, उस पर पूरी टीम मिलकर काम करेगी.

सीएम के संघ कार्यालय से जाने के कुछ देर बाद सतपाल महाराज ने भी संघ कार्यालय पहुंचकर संघ पदाधिकारियों से मुलाकात की. संघ से जुडे सूत्रों के अनुसार सतपाल महाराज के जाने के बाद मुख्य सचिव ओमप्रकाश भी संघ कार्यालय पहुंचे. बताया जा रहा है कि मुख्य सचिव सरकारी वाहन छोड़ प्राइवेट कार से संघ कार्यालय पहुंचे. दरअसल, सीएम बदलने के बाद शासन में भी महत्वपूर्ण बदलाव होने वाले हैं. सीएस की इस मीटिंग को इसी से जोड़कर देखा जा रहा है.






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