तपोवन नहर के 135 मीटर अंदर पहुंची एनटीपीसी की टीम, चमोली में आपदा से बचने के लिए लगाया ये संयंत्र– News18 Hindi
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एनटीपीसी के प्रोजेक्ट डायरेक्टर उज्जवल भट्टाचार्य ने बताया कि तपोवन में नहर के अंदर रेसक्यू टीम पहुच गई हैं और शवों को बरामद कर रही है. टीम को नगर के अंदर लगातार शव मिल रहे हैं. शवों की पहचान कर उनके परिजनों को सौंपा जा रहा है.
#Uttarakhand | “We have progressed up to 135 metres inside the Tapovan tunnel. Bodies are being recovered with caution so as to return them to their family members,” says Ujjwal Bhattacharya, Project Director NTPC pic.twitter.com/yGLNW6pS12
— ANI (@ANI) February 15, 2021
वहीं उत्तराखंड स्टेट डिजास्टर रिस्पॉस फोर्स ने चमोली जिले के राइनी गांव में वाटर अलार्मिंग सिस्टम लगाया है, जो बाढ़ आने पर गांव के लोगों इस यंत्र से पता चल जाएगा. फिलहाल रात में गांव के आसपास जल स्तर बढ़ने का पता चलने से किसी दुर्घटना से बचा जा सकता है.
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जिला प्रशासन ने बताया कि तपोवन सुरंग से सोमवार को तीन शव बरामद किए गए हैं. सुरंग में फंसे करीब 35 लोगों को बाहर निकालने के लिए सुरंग में सेना (Army) समेत कई एजेंसियां संयुक्त राहत और बचाव कार्य कर चला रही हैं.
Uttarakhand: State Disaster Response Force has put an alarm system to detect the rise in the level of water and alert about it, in Raini village of Chamoli district. pic.twitter.com/0SsB1OYO2U
— ANI (@ANI) February 15, 2021
ऋषिगंगा घाटी में सात फरवरी को आई बाढ़ के बाद एनटीपीसी की 520 मेगावाट तपोवन- विष्णुगाड जल विद्युत परियोजना की इस सुरंग में लोग कार्य कर रहे थे. निर्माणाधीन तपोवन- विष्णुगाड परियोजना को हुई भारी क्षति के अलावा, रैणी में स्थित 13.2 मेगावाट ऋषिगंगा जलविद्युत परियोजना भी बाढ़ से पूरी तरह तबाह हो गई थी. अब तक चमोली जिले के आपदाग्रस्त क्षेत्रों से कुल 54 शव बरामद हो चुके हैं जबकि 150 अन्य अभी भी लापता हैं.
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