उत्तराखंड

सहकारी बैंक घोटाले की उच्चस्तरीय जांच को मोर्चा ने दी शासन में दस्तक

10 से 15 लाख रुपए में बेची गई नौकरी

सहकारी बैंक के अध्यक्ष से लेकर कर्मचारियों तक के जुड़े हैं तार

देहरादून। जन संघर्ष मोर्चा अध्यक्ष एवं जीएमवीएन के पूर्व उपाध्यक्ष रघुनाथ सिंह नेगी ने सचिव सहकारिता बीवीआरसी पुरुषोत्तम को ज्ञापन सौंपकर प्रदेश के सहकारी बैंकों में 423 चतुर्थ श्रेणी (सहयोगी/ गार्ड) कर्मचारियों की भर्ती, जिसमें देहरादून, अल्मोड़ा व उधम सिंह नगर जनपद द्वारा परिणाम घोषित किया गया, की नियुक्तियों रद्द करने, मामले की उच्च स्तरीय जांच एवं बैंक के अध्यक्ष, चयन समिति के अधिकारी- कर्मचारी गण समेत तमाम जालसाजों के समस्त बैंक खातों में जनवरी 2022 से अप्रैल 15, 2022 तक हुए लेनदेन की उच्च स्तरीय जांच कराने का आग्रह किया , जिस पर संज्ञान लेते हुए सचिव पुरुषोत्तम द्वारा अपर सचिव, सहकारिता को तत्काल कार्रवाई के निर्देश दिए।

नेगी ने कहा कि जनपद देहरादून की भर्तियों में बड़े पैमाने पर धांधली की गई है। सहकारी बैंक घोटाले में शामिल बैंक अध्यक्ष के साथ-साथ अधिकारियों/ कर्मचारियों तक के तार इस घोटाले से जुड़े हैं, मोर्चा के पास इनके तमाम बैंक खातों से जोड़ी जानकारियां हैं, जिसमें उनके द्वारा अपने बैंक खातों के माध्यम से एक पद 10 से लेकर 15 लाख रुपए तक बेचा गया। हैरानी की बात है कि इन घोटाले बाजों ने अपने रिश्तेदारों के साथ- साथ बैंक में कार्यरत अधिकारियों/ कर्मचारियों के रिश्तेदारों/ परिजनों से ये मोटी रकम हासिल कर नियुक्ति दी। बड़े दुर्भाग्य की बात है कि कई -कई वर्षों से इन बैंकों में कार्यरत (संविदागत) कर्मचारियों एवं काबिल युवाओं को दरकिनार कर पैसे वाले लोगों को नौकरी दी गई है। हाल ही में ज्ञात हुआ है कि जांच अधिकारियों ने अपनी रिपोर्ट शासन को प्रेषित कर दी है।

मोर्चा उस जांच रिपोर्ट में इन तमाम घोटाले बाजों के खातों में माह जनवरी 2022 से 15 अप्रैल 2022 तक इनके समस्त बैंक खातों में हुए लेनदेन तथा सांठगांठ को भी जांच रिपोर्ट में शामिल कराने का आग्रह किया। मोर्चा सिफारिश विहीन व काबिल युवाओं का शोषण नहीं होने देगा ।

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