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क्षेत्र के कई होटलो में फलफूल रहा अवैध जिस्मफरोशी का धंधा

सितारगंज से चरन सिंह की रिपोर्ट: जिस्मफरोशी का अड्डा क्षेत्र के कई होटल बनते जा रहे है। जिसके चलते क्षेत्र में जिस्मफरोशी का धंधा फलफूल रहा है।जिसका मुख्य कारण होटलो में अवैध शराब परोसा जाना भी माना जा रहा है। क्योकि क्षेत्र में सिडकुल बनने के बाद से होटलो की संख्या अधिक हो गयी है, ओर ग्राहकों की संख्या कम है। ग्राहकों को रिझाने व व्यवसायों को बढ़ाने के लिए ही कुछ होटल सवामी भी इस अवैध धंधे से जुड़ते जा रहे है।

आपको बता दे कि सन-2006 में सितारगंज क्षेत्र में सिडकुल बना और लोगो का आवागमन बढ़ा इसके साथ ही होटलो की संख्या भी बढ़ती चली गयी।जिसके साथ ही सिडकुल के फैक्ट्री मालिको व अधिकारियों ने क्षेत्र के होटलो में अपना आशियाना बनाया और होटलो में ही कमरे लेकर रहने लगे और आने वाले मेहमानों को भी गेस्ट हाऊस में ठहराया जाने लगा।

जिसके चलते कुछ होटल तो गेस्ट हाऊस बनकर ही रह गए। जिससे होटल स्वामियों को भी रोजगार मिलने लगा ओर होटलो की संख्या भी अच्छी खासी हो गयी। लेकिन समय के साथ ही कुछ फैक्ट्रीयां बंद भी हो गयी जिसका असर सीधा होटल स्वामियों पर भी पड़ा।ओर कई होटलो को होटल मालिको ने बंद कर दूसरे काम काज शुरू भी कर लिए।

इधर सितारगंज सिडकुल क्षेत्र में फैक्ट्रियो के बंद होते ही बाहरी तथा पर्यटकों का आवागमन भी कम होने लगा। तो कुछ होटल स्वामियों ने अपना व्यवसाय चलाने के लिए होटलो में या तो अवैध शराब पिलाने अड्डा बना लिया या फिर अवैध जिस्मफरोशी का अड्डा।इसके लिए सिडकुल में काम के लिए आने वाली नेपाल और बाहरी क्षेत्रो की युवतियों को भी बेरोजगार होने के कारण आसानी से पैसे का लालच देकर जिस्मफरोशी में धकेला जाने लगा।ओर कुछ होटल सकामी तो अवैध शराब पिलाने ओर जिस्मफरोशी के धंधे में लिप्त भी हो गए। इससे क्षेत्र के युवक, युवतियों व पढ़ने वाले छात्र-छात्राओं पर भी इसका बुरा असर पड़ रहा है।

पुलिस भी इस ओर ध्यान नही दे रही है।जिससे ये कारोबार धड़ल्ले से किया जा रहा है।इधर धंधे से लिप्त कुछ होटल स्वामी बगैर आई०डी० के ही क्षेत्रीय व बाहरी युवक,युवतियों को घंटो के हिसाब से कमरे उपलब्ध कराने लगे है।ओर आने वाले ग्राहकों को युवतियां भी उपलब्ध कराने लगे है।इसके एवज में होटल स्वामी मोटी रकम भी वसूल रहे है।

धंधे में लिप्त होटल स्वामी भी किसी तरह का रिकार्ड नही रखते है ओर जांच होने पर आसानी से किसी भी मुसीबत से बच जाते है। जिसके चलते कुछ होटलो में चुपके-2 युवक युवतियां कमरे बुक कर रंगरलिया मनाते हुए देखे जा सकते है।लेकिन अधिकतर होटल स्वामी आज भी अपनी एक नंबर की कमाई पर ही अडिग है।क्षेत्र में ऐसे मामले एक दो होटलो में उजागर भी हुए है लेकिन लोक लज्जा के डर से क्षेत्र के लोगो द्वारा इन मामलों को दबा लिया गया। अब देखना होगा कि कब पुलिस प्रशासन इस ओर ध्यान देता है। कब ये अवैध कारोबार बंद होता है।

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